जवाहरलाल नेहरू सरकार के स्थापित वक्फ बोर्ड पर मोदी सरकार लगाने जा रही है प्रतिबन्ध
We News 24 Digital News» रिपोर्टिंग सूत्र / काजल कुमारी
नई दिल्ली:- केंद्र सरकार ने वक्फ बोर्ड की संपत्तियों को लेकर बड़ा कदम उठाने का फैसला किया है। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, केंद्रीय कैबिनेट की बैठक में वक्फ एक्ट में 30 से ज्यादा बदलावों पर चर्चा हुई है। प्रस्ताव रखा गया है कि वक्फ बोर्ड अब किसी भी संपत्ति को वक्फ संपत्ति घोषित नहीं कर सकेगा। इसके साथ ही अगर वक्फ बोर्ड किसी संपत्ति पर दावा करता है तो उसका अनिवार्य रूप से सत्यापन किया जाएगा। अगर किसी संपत्ति को लेकर वक्फ बोर्ड और किसी व्यक्ति के बीच विवाद होता है तो उसका भी सत्यापन किया जाएगा। सरकार इस दिशा में अगले हफ्ते संसद में विधेयक भी पेश कर सकती है।
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क्या है वक्फ बोर्ड?
वक्फ एक अरबी शब्द है, जिसका मतलब होता है खुदा के नाम पर चढ़ाया गया पैसा। वक्फ के दायरे में चल और अचल दोनों तरह की संपत्तियां आती हैं। कोई भी मुस्लिम व्यक्ति वक्फ को पैसा, जमीन, मकान या अन्य कीमती सामान दान कर सकता है। इन संपत्तियों के रखरखाव और प्रबंधन के लिए स्थानीय से लेकर राष्ट्रीय स्तर तक वक्फ बोर्ड हैं। इस्लामिक जानकारों के अनुसार वक्फ बोर्ड को दान की गई संपत्ति का उद्देश्य गरीबों की मदद करना, उनकी शिक्षा की व्यवस्था करना, मस्जिदों का निर्माण, उनकी मरम्मत और रखरखाव तथा अन्य कार्यों में सहायता करना है। भारत के वक्फ एसेट्स मैनेजमेंट सिस्टम के अनुसार देश में कुल 30 वक्फ बोर्ड हैं, जिनमें से अधिकांश का मुख्यालय दिल्ली में है। केंद्र सरकार की केंद्रीय वक्फ परिषद इन वक्फ बोर्डों के साथ समन्वय में काम करती है।
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क्या है वक्फ अधिनियम 1954
वक्फ अधिनियम 1954 जवाहरलाल नेहरू की सरकार के समय स्थापित किया गया था। इसका उद्देश्य वक्फ से जुड़े कार्यों को आसान बनाना और उनके लिए प्रावधान करना था। इस अधिनियम में वक्फ संपत्ति पर दावों से लेकर उनके रखरखाव तक के प्रावधान हैं। इस अधिनियम के प्रावधानों के अनुसार अल्पसंख्यक मामलों के मंत्रालय के तहत 1964 में केंद्रीय वक्फ परिषद का गठन किया गया था। यह वक्फ बोर्डों के कार्यों में केंद्र सरकार को सलाह देती है। 1995 में इस अधिनियम में संशोधन किया गया और हर राज्य और केंद्र शासित प्रदेश में वक्फ बोर्ड बनाने की अनुमति दी गई।
वक्फ बोर्ड की संपत्तियां
वक्फ बोर्ड के स्वामित्व वाली संपत्ति की बात करें तो यह रेलवे और कैथोलिक चर्च के बाद तीसरे नंबर पर आता है। आंकड़ों के मुताबिक, वक्फ बोर्ड के पास 8 लाख एकड़ से ज्यादा जमीन है। 2009 में यह जमीन 4 लाख एकड़ थी, जो कुछ सालों में दोगुनी हो गई। इनमें से ज्यादातर जमीनों में मस्जिद, कब्रिस्तान और मदरसे शामिल हैं। पिछले साल अल्पसंख्यक मामलों के मंत्रालय ने बताया था कि दिसंबर 2022 तक वक्फ बोर्ड के पास कुल 8,65,644 अचल संपत्तियां हैं।
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